हिंदू धर्म में देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना का विशेष महत्व है । भारत के प्रसिद्ध ज्योतिषी मनोज साहू जी के अनुसार माँ तुलजा भवानी का पूजन देवी की शक्ति का आह्वान करने का एक प्राचीन और प्रभावशाली तरीका है। मध्यप्रदेश के देवास में माँ तुलजा भवानी का मंदिर भक्तों के लिए विशेष महत्व रखता है।
इस ब्लॉग में हम जानेंगे कि माँ तुलजा भवानी की आराधना क्यों महत्वपूर्ण है, देवी पूजा से जुड़ा ज्योतिषीय मार्गदर्शन क्या है और इससे जीवन में सुख-समृद्धि और शांति प्राप्त करने के उपाय क्या हैं। साथ ही हम देवी पूजा से जुड़े ज्योतिषीय दृष्टिकोण और इससे मिलने वाले लाभों पर भी चर्चा करेंगे।
माँ तुलजा भवानी को शक्ति और साहस का प्रतीक माना जाता है। ऐसा कहा जाता है कि देवी भवानी का अवतार धरती पर तब हुआ जब असुरों ने देवताओं और मानवों को कष्ट पहुंचाना शुरू किया। तब माँ भवानी ने अपने दुष्टों के नाश के लिए अवतार लिया और देवताओं की रक्षा की। महान योद्धा छत्रपति शिवाजी महाराज माँ तुलजा भवानी के परम भक्त थे और उन्होंने अपने राज्य और युद्धों में देवी की कृपा प्राप्त की। यहाँ हर वर्ष नवरात्रि के समय विशेष पूजा, हवन और आराधना की जाती है। यह मंदिर न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि ज्योतिषीय दृष्टिकोण से भी अत्यधिक महत्वपूर्ण माना जाता है।
माँ तुलजा भवानी की आराधना का ज्योतिषीय महत्व
माँ तुलजा भवानी की पूजा करने से जीवन में शक्ति, साहस, और शांति की प्राप्ति होती है। ज्योतिषीय दृष्टिकोण से, देवी की आराधना करने से ग्रह दोषों का निवारण होता है, विशेषकर मंगल और शनि के अशुभ प्रभावों को शांत किया जा सकता है। मध्यप्रदेश के प्रसिद्ध ज्योतिषी मनोज साहू जी के अनुसार माँ भवानी की पूजा विशेष रूप से उन जातकों के लिए लाभकारी मानी जाती है जिनकी कुंडली में मंगल दोष या शनि की अशुभ स्थिति हो।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, माँ तुलजा भवानी की पूजा करने से जीवन में आने वाले बाधाओं और संकटों का निवारण होता है। साहू जी के अनुसार जिन लोगों के जीवन में बार-बार अड़चनें आती हैं, या वे संघर्ष कर रहे होते हैं, उनके लिए माँ तुलजा भवानी की आराधना अत्यधिक फलदायी मानी जाती है।
देवी पूजा के ज्योतिषीय उपाय
माँ तुलजा भवानी का बीज मंत्र:

ज्योतिषीय दृष्टिकोण से माँ तुलजा भवानी के बीज मंत्र का जाप अत्यंत फलदायी होता है। साहू जी के अनुसार “ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुंडायै विच्चे” मंत्र का जाप नवरात्रि या मंगलवार के दिन करने से विशेष फल प्राप्त होता है। यह मंत्र विशेष रूप से शत्रुओं से मुक्ति, जीवन में उन्नति और ग्रह दोषों का निवारण करने में सहायक होता है।
नवरात्रि के समय देवी की पूजा:
नवरात्रि के दिनों में माँ तुलजा भवानी की पूजा अत्यधिक महत्वपूर्ण मानी जाती है। इन नौ दिनों में हर दिन माँ के विभिन्न स्वरूपों की पूजा की जाती है। नवरात्रि के दौरान विशेष हवन और जप करने से कुंडली में किसी भी प्रकार के दोषों का निवारण हो सकता है।
मंगलवार को व्रत और हवन:
ज्योतिष के अनुसार, मंगल ग्रह के दोषों को शांत करने के लिए माँ तुलजा भवानी की विशेष पूजा मंगलवार को की जानी चाहिए। मंगलवार के दिन व्रत रखने और हवन करने से मंगल दोष शांत होते हैं और जीवन में आने वाली बाधाओं का निवारण होता है।
शनि दोष का निवारण:
जिन जातकों की कुंडली में शनि की साढ़ेसाती या शनि का अशुभ प्रभाव हो, उन्हें माँ तुलजा भवानी की आराधना करने से अत्यधिक लाभ मिलता है। शनि दोष को दूर करने के लिए शनिवार को देवी की विशेष पूजा, तेल का दीपक जलाना और हवन करना चाहिए।
कुंडली के अन्य ग्रह दोषों का निवारण:
माँ तुलजा भवानी की आराधना से केवल मंगल और शनि ही नहीं, बल्कि राहु–केतु, सूर्य, चंद्र, और अन्य ग्रहों के दोष भी शांत होते हैं। इसके लिए विशेष मंत्रों का जाप, हवन और देवी के प्रति श्रद्धा भाव से पूजा करनी चाहिए।
देवी पूजा का विधि-विधान

देवी पूजा का विधि-विधान ज्योतिषीय दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। यदि सही विधि से पूजा की जाए तो ग्रहों के दोषों का निवारण होता है और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
कलश स्थापना
देवी की पूजा करते समय सबसे पहले कलश की स्थापना की जाती है। कलश को देवी की प्रतीक माना जाता है और इसे स्थापित करने से पहले मंत्रों का जाप किया जाता है। कलश में जल, सुपारी, चावल, फूल और सिक्के रखकर इसे देवी के समक्ष रखा जाता है।
दीप जलाना
पूजा के दौरान अखंड दीप जलाने का विशेष महत्व होता है। साहू जी के अनुसार यह दीप जीवन में स्थायित्व, शांति, और सकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक होता है। दीप को देवी के समक्ष रखते हुए प्रार्थना करनी चाहिए कि देवी कृपा से जीवन की सभी समस्याएं दूर हों।
फूल और फल चढ़ाना
माँ तुलजा भवानी की पूजा में फूल और फल चढ़ाने का विशेष महत्व होता है। पूजा के दौरान लाल और सफेद फूल विशेष रूप से देवी को चढ़ाए जाते हैं। इसके साथ ही मौसमी फल और मिष्ठान्न भी देवी को अर्पित किए जाते हैं।
सिंदूर और चंदन का तिलक
पूजा के दौरान देवी को सिंदूर और चंदन का तिलक लगाना चाहिए। यह तिलक देवी की कृपा प्राप्त करने का एक प्रतीक होता है और इससे ग्रहों के दोष भी शांत होते हैं।
भोग अर्पण
देवी की पूजा में भोग अर्पण का भी विशेष महत्व होता है। साहू जी के अनुसार माँ तुलजा भवानी को विशेष रूप से मीठा भोग अर्पित किया जाता है। इससे देवी प्रसन्न होती हैं और जीवन में सुख, समृद्धि, और शांति प्रदान करती हैं।
माँ तुलजा भवानी की पूजा से मिलने वाले लाभ
शत्रुओं से मुक्ति: ज्योतिषीय दृष्टिकोण से माँ तुलजा भवानी की पूजा करने से शत्रुओं से मुक्ति मिलती है और जीवन में आने वाले संकटों का निवारण होता है।
धन और समृद्धि की प्राप्ति: माँ तुलजा भवानी की आराधना करने से जीवन में धन और समृद्धि का आगमन होता है। कुंडली में मौजूद धन योग को बल मिलता है और आर्थिक उन्नति के मार्ग खुलते हैं।
स्वास्थ्य और शांति: देवी की पूजा करने से मानसिक शांति प्राप्त होती है और शरीर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। ग्रह दोषों का निवारण होने से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से भी छुटकारा मिलता है।
ग्रह दोषों का निवारण: माँ तुलजा भवानी की पूजा करने से कुंडली में उपस्थित सभी प्रकार के ग्रह दोष शांत होते हैं, विशेषकर मंगल, शनि, और राहु-केतु के दोष।
जीवन में स्थायित्व: अखंड दीप जलाने और कलश स्थापना से जीवन में स्थायित्व और निरंतरता आती है। साहू जी के अनुसार इससे जातक को सभी प्रकार की बाधाओं से मुक्ति मिलती है और उन्नति के मार्ग प्रशस्त होते हैं।

माँ तुलजा भवानी की आराधना और पूजा करने से जीवन में सुख, शांति, और समृद्धि प्राप्त होती है। ज्योतिषीय दृष्टिकोण से देवी की पूजा करने से ग्रह दोषों का निवारण होता है और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। इंदौर के प्रसिद्ध ज्योतिषी मनोज साहू जी के अनुसार विशेष रूप से मंगल और शनि के दोषों को शांत करने के लिए माँ तुलजा भवानी की पूजा अत्यधिक फलदायी मानी जाती है। नवरात्रि, मंगलवार और शनिवार के दिन देवी की विशेष पूजा और हवन करने से कुंडली के दोष समाप्त होते हैं और जीवन में उन्नति के मार्ग खुलते हैं।
माँ तुलजा भवानी की कृपा से हर व्यक्ति अपने जीवन में आने वाली कठिनाइयों से पार पा सकता है और जीवन को सफल और समृद्ध बना सकता है। देवी की आराधना से प्राप्त होने वाले ज्योतिषीय लाभ अनमोल होते हैं, और माँ तुलजा भवानी के आशीर्वाद से हर व्यक्ति का जीवन मंगलमय बन सकता है।
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